Sambhal violence: संभल के मुगलकालीन मस्जिद के सर्वेक्षण को लेकर हुए विरोध प्रदर्शन में हिंसक रूप ले लिया है । सपा सांसद जियाउर्रहमान बर्क पर हिंसा भड़काने के आरोप में एफआईआर दर्ज की गई है, पुलिस के मुताबिक हिंसा में अब तक चार लोगों की मौत हो गई है। जिला प्रशासन ने हालात काबू में रखने के लिए निषेधाज्ञा लागू कर दी है और 30 नवंबर तक बाहरी लोगों के प्रवेश पर रोक लगा दी है।
Sambhal violence: प्रदर्शन के दौरान भड़की हिंसा, चार की मौत
प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच झड़प में एक और घायल व्यक्ति की मौत हो गई है, जिसे मरने वालों की संख्या चार हो गई। उपमहादनिरीक्षक मुनिराज के अनुसार, हिंसा में कई पुलिसकर्मी घायल हुए हैं।
Sambhal violence: 30 नवंबर तक लागू रहेगी निषेधाज्ञा
जिला मजिस्ट्रेट राजेंद्र पेसिया ने बताया कि भारतीय दंड संहिता (बीएनएस) के तहत निषेधाज्ञा लागू की गई है। संभल के बाहरी लोगों के प्रवेश पर 30 नवंबर तक रोक लगा दी गई है एंट्री नहीं मिलेगी।
पुलिस कर्मियों पर हमला, 20 घायल
संभागीय आयुक्त औंजनेय कुमार सिंह ने बताया कि हिंसा के दौरान उग्रवादियों ने गोलियां चलाई पुलिस अधीक्षक के पीआरओ पैर में गोली लगी, सर्किल अधिकारी को छर्रे लगे, और 15 -20 पुलिस कर्मी घायल हुए। एक कांस्टेबल को सिर में गंभीर चोट आये जबकि डिप्टी कलेक्टर के पैर में फैक्चर हुआ है।
इंटरनेट बंद, स्कूलों में छुट्टी
स्थिति को नियंत्रित करने के लिए प्रशासन में संबंध तहसील में इंटरनेट सेवाएं 24 घंटे के लिए बंद कर दी है। इसके साथ ही सोमवार को जिले में सभी स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी गई है।
कांग्रेस ने सरकार पर साधन निशान
कांग्रेस में आदित्यनाथ सरकार को हिंसा के लिए जिम्मेदार ठहराया । पार्टी ने आरोप लगाया कि भाजपा आरएसएस की “सुनियोजित साजिश”से संभल में शांति भंग हुई है। कांग्रेस का कहना है कि प्रदर्शन कार्यों पर की गई गोलीबारी भाजपा की नीति का भयानक नतीजा है।